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बाबा का गौरी शंकर श्रृंगार
– फोटो : अमर उजाला
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सावन के दूसरे सोमवार को श्रीकाशी विश्वनाथ धाम में आस्था की अनवरत गंगा प्रवाहमान हो उठी। गलियों से धाम तक भक्तों का ऐसा रेला उमड़ा कि काशी का कण-कण बम-बम भोले के जयघोष से गुंजायमान हाे उठा। मंगला आरती से शुरू हुआ दर्शन पूजन और अभिषेक का सिलसिला शयन आरती तक अनवरत चलता रहा। शाम को पांच बजे तक पांच लाख से अधिक शिवभक्तों ने बाबा विश्वनाथ का जलाभिषेक किया। बाबा विश्वनाथ ने भक्तों को गौरीशंकर स्वरूप में दर्शन दिए।
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सावन के दूसरे सोमवार को कर्क संक्रांति और सोमवती अमावस्या के दुर्लभ संयोग में भक्तों की भारी भीड़ श्रीकाशी विश्वनाथ धाम में उमड़ी। बीती रात से ही कांवड़िये बाबा विश्वनाथ का जलाभिषेक करने के लिए कतारबद्ध हो रहे थे। मंदिर के मुख्य कार्यपालक अधिकारी सुनील कुमार वर्मा ने कतारबद्ध कांवड़ियों का स्वागत फूल बरसाकर किया। इस दौरान पूरा परिसर हर-हर महादेव… के जयघोष से गूंज उठा। मंगला आरती में 350 से अधिक श्रद्धालुओं ने हिस्सा लिया। मंगला आरती के बाद जैसे ही मंदिर के कपाट आम श्रद्धालुओं के लिए खोले गए रात भर से कतारबद्ध शिवभक्तों का जोश देखते ही बना। हर-हर महादेव, बोल-बम, काशी विश्वनाथ शंभू का जयघोष करते हुए कांवड़ियों का रेला मंदिर परिसर में उमड़ पड़ा।
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