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उपराज्यपाल वीके सक्सेना और अरविंद केजरीवाल
– फोटो : अमर उजाला
मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने उपराज्यपाल वीके सक्सेना पर मेयर चुनाव के संबंध में हुई सुप्रीम कोर्ट की सुनवाई के मामले में बेहद गंभीर आरोप लगाए हैं। उन्होंने शनिवार को कहा कि एलजी ने सुप्रीम कोर्ट में दिल्ली सरकार को पक्ष रखने से जबरन रोका। शहरी विकास विभाग के सचिव पर दबाव डालकर दिल्ली सरकार के मंत्री की तरफ से प्रस्तावित वकील गौतम नारायण को खारिज कराकर तुषार मेहता को ही दिल्ली सरकार का भी वकील बनवाया। तुषार सुप्रीम कोर्ट में एलजी के भी वकील थे।
इस तरह विनय सक्सेना ने साजिश के तहत तुषार को ही दिल्ली सरकार और एलजी दोनों का वकील बनवा दिया था, जबकि सुप्रीम कोर्ट में दोनों अलग-अलग पार्टी थे। केजरीवाल ने संबंधित दस्तावेज पेश करते हुए यह खुलासा किया। केजरीवाल ने इस पूरे मामले पर कड़ी आपत्ति दर्ज कराते हुए इसे न्यायिक प्रशासन में हस्तक्षेप और अपराध बताया है। उन्होंने कहा कि यह तो फिल्मों में होता था कि कोई खलनायक किसी को कोर्ट में अपना पक्ष रखने से रोक देता था। वही काम दिल्ली में एलजी ने किया है, क्योंकि एलजी को पता था कि उन्होंने गैरकानूनी काम किया है, अगर सुप्रीम कोर्ट में पोल खुल जाती तो वे मुंह दिखाने के लायक नहीं रहते।
कोर्ट में दो पार्टियां थीं। यूडी सेक्रेटरी को डिप्टी सीएम मनीष सिसोदिया ने निर्देशित दिया था कि दिल्ली सरकार का वकील गौतम नारायण को नियुक्त किया जाए, लेकिन ऐन वक्त पर एलजी ने गौतम की जगह अपने वकील तुषार को ही नियुक्त करवा दिया। दिल्ली सरकार के अफसर के पास एलजी का आदेश मानने के अलावा कोई विकल्प नहीं था। उसने दिल्ली सरकार का वकालतनामा भी तुषार के पक्ष में दे दिया। जाहिर तौर पर अफसर के ऊपर बंदूक रखकर, सस्पेंड, ट्रांसफर व कॅरिअर बर्बाद करने की धमकी देकर जबरदस्ती वकालतनामा दिलवाया गया। एलजी व भाजपा वाले असंवैधानिक तरीके से भाजपा का मेयर बनाना चाहते थे, जिसे सुप्रीम कोर्ट ने नाकाम कर दिया है।
उम्मीद है कोर्ट के फैसले के मुताबिक होगा मेयर चुनाव
केजरीवाल ने कहा कि आप की मेयर प्रत्याशी शैली ओबेरॉय ने सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर कर मनोनीत सदस्यों को एमसीडी के मेयर चुनाव में वोट डालने के अधिकार से वंचित करने की मांग की थी। शुक्रवार को आम आदमी पार्टी के पक्ष में फैसला सुनाते हुए सुप्रीम कोर्ट की तीन जजों की बेंच ने यह निर्देश दिया है कि एमसीडी की पहली बैठक में पीठासीन अधिकारी की अध्यक्षता में सबसे पहले मेयर पद के लिए चुनाव होगा और उस चुनाव में मनोनीत सदस्यों को मत देने का अधिकार नहीं होगा। इसके बाद मेयर की अध्यक्षता में डिप्टी मेयर और स्थायी समिति के सदस्यों का चुनाव होगा। उम्मीद है कि निगम की सदन की बैठक में इस तरह से चुनाव कराए जाएंगे।
एलजी काम में अटका रहे रोड़ा : सिसोदिया
दिल्ली सरकार ने लोक निर्माण विभाग (पीडब्ल्यूडी) के सचिव के लगातार तबादले पर उपराज्यपाल पर निशाना साधा है। उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने आरोप लगाते हुए कहा कि हर छह माह में सचिव का तबादला कर निकाय को नेतृत्वहीन बना दिया गया है। सितंबर 2020 से लेकर अब तक पांच पीडब्ल्यूडी सचिव रहे हैं। उन्होंने कहा कि यह पद वर्तमान में खाली हैं, जिससे कई बुनियादी ढांचागत परियोजनाएं अटक गई हैं।
दिल्ली सरकार राज्य के बुनियादी ढांचे को विकसित करने के लिए प्रयास कर रही है, लेकिन एलजी के लगातार पीडब्ल्यूडी सचिव बदलने से प्रगति बाधित हुई है। यह एलजी कार्यालय की शक्तियों का दुरुपयोग और दिल्ली को एक विश्वस्तरीय शहर में बदलने के मुख्यमंत्री के दृष्टिकोण को पटरी से उतारने का जानबूझकर किया गया प्रयास है। विभाग के प्रमुख के रूप में पीडब्ल्यूडी सचिव 3 हजार से अधिक इंजीनियरों और अधिकारियों की टीम की अध्यक्षता करते हैं। प्रशासनिक और वित्तीय अनुमोदन प्रदान करते हैं। इसके अलावा समय पर शहर में बुनियादी ढांचा परियोजनाओं को पूरा करवाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं।
इनका हुआ तबादला
सेवा विभाग के अनुसार सितंबर 2020 से विकास आनंद सितंबर 2020 से मार्च 2021 तक, दिलराज कौर मार्च 2021 से मार्च 2022 तक, निखिल कुमार मार्च 2022 से अप्रैल तक 2022, एच राजेश प्रसाद मई 2022 से सितंबर 2022 तक और विकास आनंद नवंबर 2022 से फरवरी 2023 तक विभाग के सचिव रहे हैं। पिछले सप्ताह विकास आनंद के तबादले के बाद से यह पद खाली है।
जी-20 का काम प्रभावित
दिल्ली में जी- 20 शिखर सम्मेलन को लेकर कई परियोजनाओं पर काम चल रहा है। प्रतिदिन करीब 4 लाख वाहनों द्वारा उपयोग किए जाने वाले आश्रम फ्लाईओवर का निर्माण कार्य भी कई डेडलाइन के बावजूद पूरा नहीं हुआ है। कई प्रमुख बुनियादी ढांचागत परियोजनाएं दिल्ली के एलजी के कार्यों के कारण प्रभावित हुई हैं। यूरोपीय सड़कों के मॉडल पर 16 हिस्सों से शुरू होने वाली दिल्ली की 500 किमी की प्रमुख सड़कों का विकास भी प्रभावित हुआ है। इसके अलावा अन्य प्रोजेक्ट भी प्रभावित हुए हैं।
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