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राहुल गांधी।
पटना हाईकोर्ट सोमवार को फिर मोदी सरनेम केस में सुनवाई हुई। कोर्ट ने कांग्रेस के पूर्व सांसद राहुल गांधी को फिर से राहत दी है। जस्टिस संदीप कुमार ने इस मामले पर सुनवाई की। उन्होंने MP-MLA कोर्ट के आदेश पर रोक के फैसले को जारी रखा। कोर्ट अब इस मामले में 4 जुलाई को सुनवाई करेगी। दरअसल, याचिकाकर्ता की ओर से राहुल गांधी के गिरफ्तारी की मांग की थी। इसके बाद पटना के MP-MLA कोर्ट इस केस में 25 अप्रैल को सशरीर हाजिर होने का आदेश दिया था।
इसके बाद राहुल गांधी की ओर से उनके वकील पटना हाईकोर्ट में इसके लिए छूट की अपील की गई थी। 24 अप्रैल पटना हाईकोर्ट ने सुनवाई हुए। जस्टिस संदीप कुमार की अदालत ने MP-MLA कोर्ट के आदेश पर स्टे लगाते हुए 15 मई को सुनवाई दी। सोमवार को इस मामले की सुनवाई हुई। कोर्ट ने दोनों पक्ष की दलीलों को सुना। इसके बाद 4 जुलाई तक MP-MLA कोर्ट के आदेश पर स्टे बरकरार रखा।
राहुल गांधी की जमानत कैंसिल करने की मांग की थी
दरअसल, 12 अप्रैल को MP-MLA कोर्ट “मोदी सरनेम” को लेकर केस करने वाले पूर्व उपमुख्यमंत्री और राज्यसभा सभा सांसद सुशील मोदी के वकील एस.डी. संजय ने विशेष न्यायाधीश राहुल गांधी की जमानत कैंसिल करने की मांग की थी। उन्होंने कहा था कि कोर्ट से अपील है कि राहुल गांधी की जमानत को रद्द करके उन्हें न्यायालय में सदेह उपस्थित कराने को सुनिश्चित करने के लिए उनके विरूद्ध गिरफ्तारी का वारंट निर्गत करने का आदेश जारी किया जाए। इसके बाद कोर्ट ने 25 अप्रैल को सशरीर उपस्थित होने का आदेश दिया था। इसके बाद राहुल गांधी ने पटना हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाया था और हाईकोर्ट से राहुल गांधी को राहत दी गई।
राज्यसभा सांसद सुशील मोदी ने किया था केस
बता दें कि यह मामला भी “मोदी सरनेम” पर की गई टिप्पणी से ही जुड़ा है। भाजपा सांसद और बिहार के पूर्व उपमुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी ने 2019 में केस किया था। उन्होंने आरोप लगाया था कि 2019 में कर्नाटक के कोलार में चुनाव प्रचार के दौरान राहुल गांधी ने अपने भाषण में कहा था कि “सारे मोदी चोर हैं”। मेरा सरनेम मोदी ही है। इसइस बयान से मोदी सरनेम वाले लोग काफी आहत हुए थे। इसलिए उन्होंने कोर्ट में मानहानि का मुकदमा दायर किया था। इस वक्त राहुल गांधी इस मामले में बेल पर चल रहे हैं।
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