Bihar News: दो पूर्व DEO, एक DPO सहित 12 लोगों के खिलाफ FIR; छात्र कोष से साढ़े 57 लाख रुपये के गबन का मामला

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West Champaran: FIR against 12 people including 2 former DEOs, 1 DPO in case of embezzlement from student fund

शिक्षा भवन, पश्चिम चंपारण
– फोटो : अमर उजाला

विस्तार


बिहार के पश्चिमी चंपारण जिले के दो पूर्व DEO, एक DPO समेत 12 लोगों पर नंदनगढ़ इंटर कॉलेज लौरिया के छात्र कोष से 57 लाख 54 हजार रुपये का गबन करने के आरोप में एफआईआर दर्ज की गई है। एफआईआर जिले के लौरिया नंदनगढ़ इंटर कॉलेज के प्राचार्य सैयद बाबू अहमद के आवेदन पर हुई है। वहीं, कार्रवाई करने का आदेश सीजेएम ने लौरिया पुलिस को दिया है, जिसके तहत लौरिया थाने में एफआईआर दर्ज की गई है।

 

लौरिया थानाध्यक्ष संतोष कुमार ने बताया कि आरोप है कि नंदनगढ़ कॉलेज दशकों से संचालित और बिहार बोर्ड से मान्यता प्राप्त है। इसका संचालन आरोपी प्राचार्य सुनील कुमार राव द्वारा नियत मौजा से अलग अपने निजी भवन में कर दिया गया। जहां उन्होंने अपनी पत्नी को सचिव, भाई को कोषाध्यक्ष और चाचा को अंकेक्षक बनाकर छात्र-छात्राओं के शैक्षणिक शुल्क के तौर पर जमा कुल 57.54 लाख रुपये का गबन कर लिया। उन्होंने बताया कि प्राचार्य सैयद बाबू अहमद द्वारा परिवाद दायर करने के बाद कांड संख्या-53/24 दर्ज किया गया है। मामले का अनुसंधान दरोगा रविंद्र नाथ यादव कर रहे हैं। दो पूर्व डीईओ हरेंद्र झा और विनोद कुमार विमल के साथ डीपीओ राजन कुमार पर भी गबन का आरोप लगाया गया है।

 

जानकारी के मुताबिक, प्राचार्य पर यह भी आरोप है कि दो पूर्व डीईओ हरेंद्र झा और विनोद कुमार विमल के साथ माध्यमिक शिक्षा के तत्कालीन डीपीओ राजन कुमार भी बीएसईबी से जारी यूजर आईडी और पासवर्ड मुहैया करा कर इस गबन और सरकारी राशि के बंदरबांट में शामिल रहे।

वहीं, आरोपी तत्कालीन डीईओ विनोद कुमार विमल ने बताया कि उनके पदभार ग्रहण करने से पहले ही उनके पूर्ववर्ती डीईओ हरेंद्र झा द्वारा माध्यमिक शिक्षा के डीपीओ के माध्यम से आरोपी प्राचार्य सुनील कुमार राव को यूजर आईडी और पासवर्ड मुहैया करा दिया गया था। उनके कार्यकाल में उक्त धांधली से जुड़ी कोई भी शिकायत प्राप्त नहीं हुई। उन्होंने बताया कि विभागीय आदेश को लेकर उसके बाद के डीईओ रजनीकांत प्रवीण द्वारा पूर्व की गलती में सुधार करते हुए वर्तमान प्राचार्य को प्रभार के साथ कॉलेज यूजर आईडी और पासवर्ड मुहैया कराया गया है, जिसका सभी साक्ष्य जिला शिक्षा कार्यालय में है। कांड के अनुसंधान से लेकर आवश्यकता अनुसार न्यायालय को भी जिला शिक्षा कार्यालय द्वारा तथ्य से अवगत करा दिया जाएगा।

 

इधर, केस के अनुसंधानकर्ता अवर निरीक्षक रविंद्रनाथ यादव ने बताया कि कांड दर्ज होने के बाद वादी और गवाह को बयान के लिए बुलाया गया है। पुलिस मामले में आगे की कार्रवाई करने में जुटी हुई है।

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