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हरक सिंह रावत
– फोटो : अमर उजाला
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कॉर्बेट नेशनल पार्क के कौलागढ़ टाइगर रिजर्व के पाखरो सफारी निर्माण के बहुचर्चित मामले में विजिलेंस की दो टीमों ने पूर्व कैबिनेट मंत्री हरक सिंह रावत के बेटे के शंकरपुर स्थित दून इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल साइंस और रायवाला थाना क्षेत्र के छिद्दरवाला स्थित अमरावती पेट्रोल पंप में छापेमारी की। दोनों जगहों से विजिलेंस ने दो जनरेटर कब्जे में लेकर संबंधित थानों में जमा कर दिए हैं।
आरोप है कि इन दोनों जनरेटरों की खरीद सरकारी पैसे की गई थी और उन्हें पेट्रोल पंप और इंस्टीट्यूट में लगा दिया गया था। इस दौरान टीम ने संस्थान के दस्तावेजों को भी खंगाला और पूर्व मंत्री के साथ ही कर्मचारियों से भी पूछताछ की
विजिलेंस निदेशक वी. मुरूगेशन ने बताया कि पाखरो सफारी निर्माण के मामले से हल्द्वानी विजिलेंस जांच कर रही है। इस मामले में अप्रैल 2022 को विजिलेंस ने मुकदमा दर्ज किया था। जांच में सरकारी पैसे से खरीदारी कर प्राइवेट जगह पर सामान रखने की जानकारी मिली थी। जांच में दो जनरेटर की जानकारी मिली थी। जिनकी कीमत करीब 15 लाख रुपये बताई गई। इसी जांच को आगे बढ़ाते हुए पूर्व मंत्री के बेटे के शंकरपुर स्थित दून इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल साइंस और छिद्दरवाला स्थित अमरावती पेट्रोल पंप में छापेमारी की गई थी। यहां से सरकारी पैसे से खरीदे गए दोनों जनरेटर कब्जे में लिए गए
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बुधवार सुबह 10 बजे टीम जांच करने पहुंची। करीब 4 घंटे तक सर्च ऑपरेशन चला। इस दौरान कई साक्ष्य भी जुटाए गए है। बताया जा रहा है कि इस दौरान वहां पूर्व कैबिनेट मंत्री हरक सिंह रावत भी मौजूद रहे। टीम ने संस्थान के दस्तावेजों को बारीकी से खंगाला। संस्थान के कर्मचारियों के साथ ही पूर्व कैबिनेट मंत्री से भी पूछताछ की गई। विजिलेंस टीम के साथ सहसपुर पुलिस और रायपुर पुलिस भी मौजूद रही।
मीडियाकर्मियों को नहीं जाने दिया अंदरकार्रवाई के दौरान मीडियाकर्मियों को अंदर नहीं जाने दिया गया। उन्हें गार्डों ने गेट पर ही रोक लिया। पूछे जाने पर उन्होंने कोई कारण नहीं बताया। हालांकि मरीजों, उनके तीमारदारों और छात्रों के आने-जाने में कोई रोक नहीं रही।
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