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जम्मू नगर निगम
– फोटो : अमर उजाला
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जम्मू नगर निगम में जनरल हाउस में मेयर राजिंदर शर्मा ने स्मार्ट पार्किंग मामले में जांच समिति गठित करने के निर्देश दिए हैं। इस मामले में निगम को एक साल से अधिक समय में सिर्फ एक लाख रुपये का ही राजस्व प्राप्त हुआ है, जबकि ठेकेदार की जेब में 25 लाख रुपये गए हैं। इस मामले में निगम को राजस्व घाटा हुआ है।
इसके साथ गो सदन मामले में घोटाले की आशंका को देखते हुए जांच के आदेश जारी किए गए हैं। इसके अलावा एसएसपी जम्मू और एसएसपी ट्रैफिक के जनरल हाउस में नदारद रहने का कड़ा संज्ञान लेते हुए उनके खिलाफ कार्रवाई के लिए मुख्य सचिव को लिखा गया है।
स्मार्ट पार्किंग का ठेका 1 नवंबर 2021 को आवंटित किया गया था। 20 नवंबर 2022 तक एक साल में नगर निगम को एक लाख 204 रुपये ही मिल पाए हैं, जबकि ठेका लेने वाले को 25 लाख रुपये मिले। मेयर राजिंदर शर्मा ने कहा कि बाहरी कंपनियां एक करोड़ तक देने के लिए तैयार हैं। किस उद्देश्य से और किन लोगों को यह ठेका दिया गया, इसकी जांच की जाएगी।
इसके अलावा उन्होंने कहा कि नगरोटा में गो सदन निर्माण में पशुओं के लिए शेड ही बन पाए हैं। इस पर चार करोड़ 50 लाख रुपये खर्च हुए हैं। इसमें घोटाला होने की आशंका है। पार्षद की शिकायत के बाद अब हाउस ने जांच बैठाई है। इसके लिए जांच कमेटी का गठन किया गया है। इसी तरह एसएसपी जम्मू और एसएसपी ट्रैफिक के हाउस में नहीं आने पर मुख्य सचिव को कार्रवाई के लिए लिखा है। दरअसल हाउस में पुलिस से जुड़े मसलों पर मंथन किया जाना था, जो नहीं हो पाया।
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