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इस दीपक में 16-16 तार की चार छड़ियां बनाकर जलाई जाती हैं. सबसे पहले भगवान गणेश की पूजा की जाती है. इस पूजा में भगवान गणेश को जल, रोली, मौली, चंदन, सिन्दूर, सुपारी, पान का पत्ता, चावल, फूल, इलायची, बेलपत्र, फल, सूखे मेवे और दक्षिणा चढ़ाई जाती है. इसके बाद कलश की पूजा भगवान गणेश की पूजा की तरह ही की जाती है. फिर नौ ग्रह और सोलह देवियां 31 अगस्त 2023 गुरुवार को हैं. अर्पित की गई सभी सामग्री किसी गरीब व्यक्ति को दे देनी चाहिए.
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