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Pitru Paksha 2023: बिहार के गया जिले में एक प्रसिद्ध मंदिर है. यहां कई लोग अपना खुद का पिंडदान करने पहुंचते है. यहां श्रद्धालु खुद का ही श्राद्ध करते हैं. इस मंदिर की मान्यता हजारों साल पुरानी है. पुराणों में भी मंदिर का जिक्र है. माना जाता है कि जिंदा रहते ही पिंडदान कर लेने से श्राद्ध कर्म की फिर चिंता नहीं होती है.वहीं, गया में विश्वविख्यात पितृपक्ष मेला 28 सितंबर से शुरू होने जा है, यह 14 अक्टूबर तक चलेगा. पितरों की मुक्ति के लिए इन दिनों पिंडदान, तर्पण विधि और श्राद्ध कर्म किए जाते हैं. वहीं, बता दें कि एक ऐसा भी मंदिर है, जहां लोग खुद का ही पिंडदान करते हैं.
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