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लोकसभा चुनाव
– फोटो : अमर उजाला
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सियासी समर में एक दूसरे दल को मात देने के लिए प्रमुख राजनीतिक दलों द्वारा सिर्फ इस लोकसभा चुनाव में ही आपसी गठबंधन नहीं किया गया है, इससे पहले भी विभिन्न राजनीतिक दल चुनावी अखाड़े में एक दूसरे को पटखनी देने के लिए आपस में गठबंधन कर चुके हैं।
लेकिन पिछले अगर चार लोकसभा चुनावों पर नजर डाले तो वर्ष 2019 में सपा, बसपा और रालोद के गठबंधन की गांठ सबसे मजबूत साबित हुई है। इस गठबंधन ने वर्ष 2014 की मोदी लहर में भाजपा को मिली न सिर्फ सभी छह सीटें उससे छीन ली थी बल्कि सभी सीटों पर आधे से अधिक मतदाताओं का साथ पाने की मिसाल भी पेश की है।
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