UP Nikay Chunav 2023: ये है अखिलेश के ‘दलित प्रेम’ के बदले मायावती का ‘मुस्लिम प्यार’ वाला दांव!

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UP Nikay Chunav 2023: Mayawati woo Muslim voters to counter Akhilesh yadav's Dalit voters stretgy

अखिलेश यादव और मायावती
– फोटो : ANI (File)

विस्तार

अखिलेश यादव ने जिस तरह से मायावती के दलित वोट बैंक में सेंधमारी करने के लिए अपनी सियासी चाल चली है, ठीक उसके उलट मायावती ने भी सियासी दांव पर चलकर समाजवादी पार्टी के मुस्लिम वोट बैंक में सेंधमारी करने की बड़ी योजना बनाई है। 2024 के लोकसभा चुनावों को ध्यान में रखते हुए बहुजन समाज पार्टी ने निकाय चुनावों से अपनी फील्ड सजानी शुरू की है। उसकी बानगी बहुजन समाज पार्टी की ओर से निकाय चुनावों में मेयर पद के मुस्लिम उम्मीदवारों पर लगाए गए दांव से दिखती है। सियासी गलियारों में मायावती की ओर से 11 मुस्लिम प्रत्याशियों को मेयर के पद के लिए चुनावी मैदान में उतारना अखिलेश यादव के दलित प्रेम का काउंटर माना जा रहा है।

सपा की दलितों को जोड़ने की कोशिश

बीते कुछ समय में जिस तरह से अखिलेश यादव ने दलितों को अपनी ओर जोड़ने के लिए जो सियासी दांव चले हैं, उससे बहुजन समाज पार्टी को नए राजनीतिक नजरिए से बहुत कुछ सोचने पर मजबूर कर दिया है। राजनीतिक विश्लेषकों का कहना है कि समाजवादी पार्टी ने 2024 के लोकसभा चुनावों को ध्यान में रखते हुए ही अपने कोर वोट बैंक के साथ दलितों को जोड़ने की शुरुआत की है। समाजवादी पार्टी ने दलितों को अपनी ओर जोड़ने के लिए न सिर्फ काशीराम की प्रतिमा का अनावरण किया, बल्कि बाबा साहब भीमराव आंबेडकर के गांव भी पहुंचे। राजनीतिक जानकार जीडी शुक्ला कहते हैं कि अखिलेश यादव ने बसपा के वोट बैंक और कमजोर करने के लिए अपने साथ दलित नेता चंद्रशेखर को भी न सिर्फ मंच पर जगह दी, बल्कि उनके साथ मध्यप्रदेश में बाबा साहेब के गांव भी पहुंचे। वह कहते हैं कि इससे एक बात तो स्पष्ट हो जाती है कि अखिलेश यादव अपने मुस्लिम और यादव वोट बैंक के साथ दलितों को अपने पाले में करने की पूरी तैयारी कर रहे हैं।

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