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वाराणसी में ट्रैफिक जाम
– फोटो : अमर उजाला।
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शहर की यातायात व्यवस्था पूरी तरह से ध्वस्त हो गई है। बीते मंगलवार की सुबह ककरमत्ता पुल से बनारस रेलवे स्टेशन के द्वितीय प्रवेश द्वार, मंडुवाडीह चौराहा होते हुए मंडुवाडीह थाने तक सड़क की दोनों लेन पर वाहन रेंगते नजर आए।
हालत यह रही कि कार से एक किलोमीटर की दूरी तय करने में एक घंटे से ज्यादा का समय लग गया। इसी तरह से दोपहर के समय महमूरगंज से मंडुवाडीह स्टेशन मार्ग पर भी तीखी धूप में जाम के कारण राहगीर परेशान हुए।
ट्रैफिक पुलिस की नई व्यवस्था पर उठे सवाल
बरेका गेट से आगे बढ़ने पर ककरमत्ता पुल के पास, बनारस रेलवे स्टेशन के द्वितीय प्रवेश द्वार, मंडुवाडीह चौराहा और मंडुवाडीह थाने के पास रोजाना पुलिस कर्मी तैनात रहते हैं। बावजूद सुबह नौ से देर शाम तक राहगीरों को भीषण जाम से जूझना पड़ता है। बीते दिनों कमिश्नरेट की ट्रैफिक पुलिस की ओर से कहा गया था कि मंडुवाडीह चौराहे पर जाम की समस्या से निजात दिलाने के लिए नई व्यवस्था बनाई जाएगी।
मंडुवाडीह चौराहा से बनारस रेलवे स्टेशन मार्ग पर यू-टर्न की व्यवस्था की जाएगी। फिर, यह योजना कागजों में ही दबकर रह गई। बीते साल यह भी दावा किया गया था कि जनवरी में ट्रैफिक पुलिसकर्मियों की अलग-अलग टीम बनाकर उन्हें यातायात संचालन के लिए विशेष प्रशिक्षण दिया जाएगा। इस योजना पर भी काम नहीं हो सका। नतीजतन, राहगीर रोजाना जाम का झाम भुगतने को विवश हैं।
जाम लगने की मुख्य वजह
- बनारस रेलवे स्टेशन के द्वितीय प्रवेश द्वार के सामने ऑटो-टोटो और ठेला वालों का अतिक्रमण।
- डिवाइडर के जगह-जगह के कट से राहगीरों का गलत लेन में चलना।
- मंडुवाडीह चौराहा और उसके आसपास की सड़क पर अतिक्रमण।
- मंडुवाडीह थाने से सटी हुई गली में गलत लेन से वाहनों का प्रवेश।
- ट्रैफिक प्रेशर को सही तरीके से न समझने वाले पुलिस कर्मियों की तैनाती।
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